उज्जैन। भगवान महावीर ने अपनी मृत्यु के पहले 48 घंटे (16 प्रहर) तक बिना रुके लगातार अंतिम उपदेश दिए थे। यह आगम के उत्तराध्ययन सूत्र में वर्णित है। इस सूत्र के 36 अध्ययन (भाग) में 2 हजार श्लोकों का विवेचन अमितगुणाश्रीजी आदि ठाणा की निश्रा में सात दिवसीय व्याख्यान माला के रूप में ऋषभदेव केशरीयानाथ मंदिर खाराकुआ पर शुरु हुआ। पहले दिन ग्रंथ में वर्णित उपदेशों के पांच अध्ययन विनय, परिगृह, चातुरंगी, असंस्कृत एवं अकामकरणीय पर विस्तार से प्रकाश डाला गया।रोज सुबह 6.30 से 8 बजे तक यह व्याख्यान होगा। ट्रस्टी जयंती लाल जैन, नरेंद्र जैन, अशोक भंडारी, संजय जैन, अशोक हरणीया, प्रमोद जैन आदि मौजूद थे।

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